नज़रें बदली तो नज़ारे बदले,
कश्तियों ने बदला रुख ,तो किनारे बदले
कुछ हम बदले, कुछ ज़माना बदला
पल भर में किस्मत के तारे बदले
है गजब खेल ये समय की दौड़
सुलझे सवालों के इशारे बदले
धुन तो आज भी वही है गीतों की
लब्ज़ों के मायने है सारे बदले
Tuesday, July 21, 2009
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